बाल रोग नाशक तंत्र :

बाल रोग नाशक तंत्र :

बाल रोग नाशक तंत्र के बारे में कुछ अनोखा उपाय : जानें बाल रोग नाशक तंत्र के विभिन्न उपाय और तकनीकों को जो बच्चे के समस्याओं को दूर करने में मदद कर सकते हैं ।

(१) बच्चे के गले में सीपियों की माला पहिना देने से उसके दांत आसानी से निकल आते हैं ।

(२) बच्चे के हाथ और पांब में लोहे का अथबा ताँबे का कडा पहिना देने से उसके दांत आसानी से निकल आते हैं और उसे किसी की नजर भी नहीं लगती है ।

(३) बच्चे को यदि किसी की नजर लग जाय तो थोड़ी सी साबुत लाल मिर्चों को लेकर उसके ऊपर तीन बार उतारें । फिर उन्हें जलती हुए चूल्हें में झोंक दें । यदि किसी की नजर लगी होगी तो चूल्हे से धांस नहीं उठेगी तथा मिर्चों के जल जाते ही नजर का दोष दूर हो जायेगा । यदि चूल्हें में से धांस उठे तो यह समझना चाहिए की बालक को नजर नहीं लगी हैं ।

(४) रीठे के फल को धागे में गूंद कर, बच्चे के गले में बाँध देने से उसे नजर नहीं लगती तथा उसे यदि हिचकी का रोग हो तो बह भी दूर हो जाता है ।

(५) मंगलबार अथबा रबिबार के दिन कहीं से नीलकंठ पक्षी का पंख लाकर उसे जिस चारपाई पर बालक सोता हो, उसमें खोंप दें । इस बाल रोग नाशक तंत्र से बालक का रोना बन्द हो जायगा ।

(६) काले रंग के कुते का एक बाल (रोंया) तथा अकरकरा का एक दाना – इन दोनों को बालक के गले में बाँध देने से उसके आमाशय के रोग तथा ज्वर दूर होकर इन्द्रियों में चैतन्यता आ जाती है ।

(७) भेडिये के दांत को बालक के गले में बाँध देने से बाल अपस्मार रोग दूर हो जाता है ।

(८) अकरकरा को सूत के डोरे में बाँध कर बालक के गले में लटका देने से बालक का मृगी रोग दूर हो जाता है ।

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ज्योतिषाचार्य प्रदीप कुमार
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